श्रद्धेय सुशील मोदी की याद में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन, राज्यपाल, मुख्यमंत्री, भाजपा अध्यक्ष सह उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी हुए शामिल!

बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी की याद में आज रविन्द्र भवन में एक श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया।

इस सभा मे राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर , बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार , भाजपा के अध्यक्ष सम्राट चौधरी और उप मुख्यमंत्री विजय सिन्हा शामिल हुए।

इस सभा मे राज्यपाल ने कहा कि मोदी जी से मेरा पहला मुलाकात संघ के प्रचारक के समय हुआ था। जब हम बिहार राज्यपाल बन कर आये तब सुशील जी पहले ऐसे व्यक्ति थे जो मुझसे मिले। उन्होंने कहा कि उन्होंने मुझे बिहार के विषय मे बताया। वे भले ही हम उम्र थे लेकिन वे अभिभावक थे।

उन्होंने कहा कि हमें उन्होंने कई संगठनों से भी जोड़ते हुए बताया कि बिहार में काम करना हो तो यह जरूरी है। उन्होंने कहा कि उनके कार्य के प्रति यह कार्यान्जली है। इधर, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा कि हमने मार्गदर्शक और बड़ा नेता खोया है। सरकार से लड़ना आसान नहीं होता है। मोदी जी ज्यादा उम्र में भी कोई बैठक में अनुपस्थित नहीं होते थे। पार्टी की चिंता भी वे लगातार करते रहे।

उन्होंने कहा था कि वित्त विभाग को सरकार की चीजों को देखना होगा। उन्होंने कहा कि जब उनके निधन की खबर मिली तो शॉकिंग समाचार था। उन्होंने कहा कि वे कहते थे कि वह मार्गदर्शन करते रहेंगे। उन्होंने कहा कि मोदी जी ने जो रास्ता दिखाया है, उस पर हम चले यही सच्ची श्रद्धांजलि है। केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि मोदी जी निर्भीक नेता थे। उन्होंने कहा कि अगर मुझे किसी ने हिंदी सिखाया तो वह मोदी जी थे।

उन्होंने कहा कि वे कहा करते थे कि जैसा भी हिंदी बोले लेकिन बोलते रहे। आज उन्हीं के कारण हम जैसी भी हिंदी बोल पाते हैं वह बोलते हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें भूल पाना आसान नहीं है। उप मुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि सशील मोदी में अपनत्व भाव रहा। सकरात्मक सोच रहा है। इनकी निर्भीकता के साथ भ्रष्टाचार से लड़ाई लड़ी। अराजकता के विरुद्ध लड़ कर बिहार को निकाला। इनकी कमी पार्टी को ही नहीं बिहार को खलेगी। पूर्व केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने कहा कि मोदी जी का जीवन विशिष्ट है।

इस मौके पर दिवंगत मोदी जी के पुत्र उत्कर्ष ने श्रद्धांजलि सभा मे आने वाले सभी लोगों का आभार जताया। उन्होंने कहा कि वे सुबह में उठ जाते थे। उन्होंने अपने पापा के जीवन दर्शन को बहुत अच्छी तरह से प्रस्तुत किया।